भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने कई सिख समूहों के संयुक्त बयान का हवाला देते हुए शनिवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी से वह बयान वापस लेने को कहा जिससे कथित तौर पर देश में भय का माहौल पैदा हो गया है। भाजपा नेता मनजिंदर सिंह सिरसा ने संवाददाताओं को बताया कि कई सिख और गुरुद्वारा प्रबंधन निकायों ने इस मुद्दे पर गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय से मुलाकात की और उन्होंने कहा कि सिखों के बलिदान ने देश को मजबूत बनाया है। भाजपा ने अमेरिका यात्रा के दौरान गांधी की इस टिप्पणी के लिए उन पर निशाना साधा है कि भारत में चल रही वैचारिक लड़ाई में विभिन्न धर्मों की स्वतंत्रता सुनिश्चित करना भी शामिल है, जैसे कि क्या सिखों को पगड़ी पहनने या गुरुद्वारों में जाने की अनुमति होगी।
सिरसा ने कहा कि सिख संगठनों ने गांधी से बयान वापस लेने का आग्रह किया है क्योंकि यह उन्हें नुकसान पहुंचा रहा है। उन्होंने कहा कि गुरपतवंत सिंह पन्नू जैसी राष्ट्र विरोधी ताकतों ने गांधी की टिप्पणी का फायदा उठाया है। उन्होंने कांग्रेस की आलोचना करते हुए इंदिरा गांधी की हत्या के बाद 1984 के सिख विरोधी दंगों से पहले 80 के दशक की शुरुआत में सिखों को निशाना बनाए जाने की घटना को याद किया। सिरसा ने आरोप लगाया कि कांग्रेस अब वैसा ही माहौल बनाने की कोशिश कर रही है।
उन्होंने पत्रकारों के साथ बातचीत में पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान की भी इस बात के लिए आलोचना की कि राज्य के निजी अस्पतालों ने आयुष्मान भारत कार्ड धारकों को नकदी रहित उपचार उपलब्ध नहीं कराने का निर्णय लिया है, क्योंकि राज्य सरकार ने 600 करोड़ रुपये से अधिक का बकाया भुगतान नहीं किया है। सिरसा ने कहा कि मान सरकार ने आप नेता अरविंद केजरीवाल को निजी विमानों में यात्रा कराने के लिए करोड़ों रुपये खर्च कर दिए हैं, लेकिन गरीबों के अच्छे इलाज के लिए उसके पास पैसे नहीं हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री से लंबित बकाये का भुगतान करने को कहा।