दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने राष्ट्रीय राजधानी में सेवाओं पर नियंत्रण से जुड़े अध्यादेश को लेकर रविवार को केंद्र सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि सबसे पहले दिल्ली पर ‘वार’ हुआ और अन्य राज्यों के लिए भी इसी तरह के अध्यादेश लाए जाएंगे। रामलीला मैदान में आम आदमी पार्टी (आप) की ‘महा रैली’ को संबोधित करते हुए केजरीवाल ने कहा कि केंद्र का अध्यादेश दिल्ली के लोगों का अपमान है। उन्होंने आरोप लगाया कि यह अध्यादेश कहता है कि दिल्ली में प्रजातंत्र नहीं होगा। ‘आप’ के राष्ट्रीय संयोजक ने कहा, दिल्ली में तानाशाही होगी और उपराज्यपाल (एलजी) सर्वोच्च हैं। जनता जिसे चाहे वोट दे सकती है, लेकिन दिल्ली को केंद्र सरकार ही चलाएगी। उन्होंने कहा, मैं देशभर में यात्रा कर रहा हूं और मैं दिल्ली के लोगों को भरोसा दिलाना चाहता हूं कि वे अकेले नहीं हैं। भारत के 140 करोड़ लोग उनके साथ हैं।
‘आप’ नेता ने दावा किया कि दिल्ली ”वार का सामना करने वाला पहला शहर है” और वे राजस्थान सहित अन्य राज्यों के लिए भी ऐसे अध्यादेश ले आएंगे। मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन की गिरफ्तारी पर केजरीवाल ने कहा कि दोनों नेताओं को राष्ट्रीय राजधानी में काम रुकवाने के लिए गिरफ्तार किया गया। उन्होंने कहा, “लेकिन हमारे पास 100 सिसोदिया, 100 जैन हैं। वे अच्छे काम जारी रखेंगे। पूर्व उपमुख्यमंत्री सिसोदिया को जहां दिल्ली आबकारी नीति 2021-22 के निर्माण और कार्यान्वयन में कथित अनियमितताओं के आरोप में इस साल फरवरी में गिरफ्तार किया गया था, वहीं जैन को पिछले साल मई में धनशोधन मामले में गिरफ्तार किया गया था।
केजरीवाल ने कहा, “मैं सवाल करना चाहूंगा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री और फिर प्रधानमंत्री के रूप में लंबे समय से सत्ता में हैं, जबकि केजरीवाल की सरकार आठ साल से है, दोनों में से किसने लोगों के लिए ज्यादा काम किया है। ‘आप’ की ‘महा रैली’ में राज्यसभा सदस्य कपिल सिब्बल भी शामिल हुए। उन्होंने 2024 के लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का मुकाबला करने के लिए विपक्षी एकता कायम करने पर जोर दिया।