भाजपा के ऑपरेशन लोटस की जांच करेगी सीबीआई? आप विधायक बोले हमारी शिकायत स्वीकार्य

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आम आदमी पार्टी (आप) के विधायकों ने बुधवार को कहा कि यहां स्थित केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) के मुख्यालय के बाहर करीब दो घंटे तक पार्टी विधायकों के धरने पर बैठने के बाद भाजपा के ‘ऑपरेशन लोटस’ के खिलाफ शिकायत को जांच एजेंसी ने स्वीकार कर लिया। धरने के बीच ही सीबीआई के कुछ अधिकारी दिल्ली विधानसभा में आप के मुख्य सचेतक दिलीप के. पांडेय और कालकाजी सीट से विधायक आतिशी को शिकायत दर्ज कराने के लिए एजेंसी परिसर के अंदर ले गए।

आतिशी ने संवाददाताओं से कहा, हमने आखिरकार शिकायत दर्ज कराई और रसीद भी मिली। लेकिन यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि जनता के 10 निर्वाचित प्रतिनिधियों को लगभग दो घंटे तक सड़क पर इंतजार करना पड़ा और कोई भी अधिकारी हमसे नहीं मिला। उन्होंने आरोप लगाया कि ऐसा लगता है कि जब भाजपा के खिलाफ शिकायत होती है तो सीबीआई डर जाती है। आतिशी ने कहा, शिकायत में हमने कहा है कि भाजपा ने अब तक देश भर में 277 विधायकों को अनुमानित तौर पर 6,300 करोड़ रुपये खर्च करके खरीदा है और दिल्ली में आप के 40 विधायकों को खरीदने के लिए भाजपा की तैयारी थी। इसलिए सीबीआई को जांच करनी चाहिए।

पांडेय ने आरोप लगाया कि सीबीआई के किसी भी अधिकारी ने आप विधायकों से यह समझने की ‘परवाह’ नहीं की कि भाजपा ने किस तरह से लोकतंत्र की हत्या की है और विधायकों को खरीदकर अन्य पार्टियों की सरकारों को अस्थिर किया है। तिमारपुर के विधायक ने उम्मीद जताई कि सीबीआई शिकायत पर तुरंत जांच शुरू करेगी और देश के सामने भाजपा के ‘ऑपरेशन लोटस’ की सच्चाई सामने लाएगी। आप ने इससे पहले दिन में कहा था कि वह सीबीआई निदेशक सुबोध कुमार जायसवाल से मिलकर कई राज्यों में भाजपा द्वारा ‘ऑपरेशन लोटस’ चलाकर गैर-भाजपा सरकारों को गिराने के कथित प्रयास की जांच की मांग करेगी।

इसके बाद आप के एक प्रतिनिधिमंडल ने जायसवाल से मिलने की कोशिश की, लेकिन अनुमति नहीं दिये जाने के बाद वे जांच एजेंसी के मुख्यालय के बाहर धरने पर बैठ गए। आप विधायकों का 10 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल दोपहर तीन बजे सीबीआई मुख्यालय में उसके निदेशक से मिलने पहुंचा, हालांकि उनके कार्यालय ने मुलाकात के लिए किये गए उनके अनुरोध का कोई जवाब नहीं दिया। आप के राज्यसभा सदस्य संजय सिंह ने सीबीआई मुख्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन में शामिल होने के बाद संवाददाताओं से कहा, ”इससे यह साबित होता है कि सीबीआई भाजपा के इशारे पर काम करती है। मैंने भी सीबीआई निदेशक से मिलने का समय मांगा था, लेकिन मुझे अभी तक कोई जवाब नहीं मिला है। सिंह ने आप विधायकों को जांच एजेंसी के निदेशक से मिलने और शिकायत देने की अनुमति से इनकार किये जाने को दुर्भाग्यपूर्ण बताया और कहा कि एक सामान्य पुलिस थाने में भी लोगों के पहुंचने पर उनकी शिकायत सुनी जाती है।

उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा के ‘ऑपरेशन लोटस’ के खिलाफ शिकायत दर्ज कराने के इच्छुक दिल्ली के निर्वाचित विधायकों को एक घंटे तक सीबीआई मुख्यालय के बाहर खड़ा किया गया। सिंह ने मांग की, ”सीबीआई को भाजपा द्वारा सरकारों को गिराये जाने की जांच करनी चाहिए और ऑपरेशन लोटस के तहत विधायकों को खरीदने के लिए इस्तेमाल किए जा रहे धन के स्रोत का पता लगाना चाहिए। भाजपा ने आरोपों से इनकार करते हुए मांग की है कि आप के जिन विधायकों ने यह दावा किया है कि भाजपा ने उनसे संपर्क करके पाला बदलने के लिए उन्हें 20 करोड़ रुपये तक की पेशकश की, उनकी ‘लाई डिटेक्टर’ जांच की जानी चाहिए।

दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कथित आबकारी घोटाले में सीबीआई की छापेमारी के बाद भाजपा पर आप विधायकों को अपने पाले में करने और अरविंद केजरीवाल की सरकार को गिराने की कोशिश करने का आरोप लगाया था। इससे पहले दिन में, आतिशी ने कहा कि जब भी भाजपा किसी राज्य में विधानसभा चुनाव हारती है, तो उसका ऑपरेशन लोटस राज्य सरकार को घेरने के लिए सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के इस्तेमाल के साथ शुरू हो जाता है। उन्होंने आरोप लगाया कि इसके बाद, सत्ताधारी पार्टी के विधायकों को रकम की पेशकश की जाती है और वादा किया जाता है कि अगर वे भाजपा में शामिल होते हैं, तो उनके खिलाफ दर्ज मामले वापस ले लिए जाएंगे।

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